राजस्थान के पूर्व उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट के अनशन के कारण पार्टी के भीतर नए सिरे से शुरू हुई रस्साकशी के बीच पार्टी के प्रदेश प्रभारी सुखजिंदर रंधावा ने बुधवार को कहा कि पायलट ने मुद्दा सही उठाया है, लेकिन उनका तरीका गलत था। उन्होंने राजस्थान प्रदेश कांग्रेस से जुड़े पहले के कई घटनाक्रमों के संदर्भ में यह भी कहा कि पहले कई बार कार्रवाई होनी चाहिए थी जो नहीं हुई, लेकिन अब अनुशासनहीनता को लेकर कार्रवाई होगी।
रंधावा ने कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे से भी मुलाकात की। सूत्रों के अनुसार, खरगे के साथ मुलाकात के दौरान रंधावा ने पायलट के अनशन के संदर्भ में चर्चा की है। वह करीब आधे घंटे तक खरगे के आवास पर रहे। बाद में रंधावा ने संवाददाताओं से कहा, ”सचिन पायलट ने जो मुद्दे उठाए हैं उससे मैं सहमत हूं, लेकिन उठाने का तरीका गलत था। उन्हें विधानसभा सत्र के दौरान इसे उठाना चाहिए था। विधानसभा एक मंच था जहां वो भ्रष्टाचार का मुद्दा उठा सकते थे। वहां मुख्यमंत्री को जवाब देना पड़ता।”
उन्होंने कहा, ”मैं प्रभारी हूं। मेरी और मुख्यमंत्री की उतनी बैठकें नहीं हुई जितना पायलट के साथ होती हैं, क्योंकि उनके परिवार के साथ 1986 से मेरा रिश्ता है… मुझे बता देते कि मेरे मुद्दे ये हैं।” रंधावा ने यह भी कहा, ”उन्हें यह भी कहना चाहिए था कि गजेन्द्र सिंह शेखावत की गिरफ्तारी क्यों नहीं हुई?”
उन्होंने कहा, ”मैंने पहले कहा था कि यह (अनशन) पार्टी विरोधी गतिविधि है…पिछले दिनों के घटनाक्रमों का मैं विश्लेषण करूंगा। पूरी रिपोर्ट दूंगा।” अनुशासनहीनता से जुड़े पहले के घटनाक्रमों को लेकर कार्रवाई नहीं होनेके सवाल पर रंधावा ने कहा, ”कार्रवाई तो कई बार होनी चाहिए थी जो नहीं हुई। अब वैसा नहीं होगा। अब कार्रवाई होगी।
उधर, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पायलट बुधवार सुबह दिल्ली पहुंचे। पायलट के करीबी सूत्रों ने बताया कि फिलहाल पार्टी नेतृत्व के साथ मुलाकात का कोई कार्यक्रम तय नहीं है। पायलट ने राजस्थान में वसुंधरा राजे के नेतृत्व वाली भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की पूर्ववर्ती सरकार में हुए कथित भ्रष्टाचार के मामलों में कार्रवाई की मांग को लेकर मंगलवार को जयपुर में एक दिन का अनशन किया था।