भोपालगढ़. जोधपुर जिले के भोपालगढ़ स्थित शिंभेश्वर तालाब पर स्थित सबसे पुराने महादेव मंदिर में स्थापित नंदी के भक्तों के हाथों पानी पीने की चर्चा से मंदिर में बड़ी संख्या में श्रद्धालू एकत्र होना शुरू हो गए। लोग अपने हाथ से नंदी को पानी पिलाने का प्रयास कर रहे है। नंदी पानी पी रहा है या नहीं इसकी कोई पुष्टि नहीं हो पाई, हालांकि वहां के पुजारी का दावा है कि ऐसा वास्तव में हो रहा है। जबकि कुछ लोग इसे महज भ्रम बता रहे है। वहीं भक्त इसे चमत्कार करार दे रहे है।
शिंभेश्वर तालाब पर स्थित महादेव मंदिर के पुजारी पवन महाराज का कहना है कि पूजा पाठ करते समय नंदी भगवान को जल अर्पित कर रहा था तभी नंदी ने वह जल पी लिया। जैसे इस बात को दूसरे श्रद्धालुओं को बताई तो श्रद्धालुओं ने पहले तो विश्वास नहीं किया फिर बाद में एक-एक करके सभी ने नंदी भगवान को पानी पिलाया। उनका दावा है कि भक्त किसी कटोरी या प्याले में साफ पानी रख नंदी को अर्पित करते है तो देखते ही देखते पानी खाली होना शुरू हो जाता है। इसकी चर्चा जैसे जैसे कस्बे में फैली वैसे वैसे नंदी भगवान को पानी पिलाने के लिए भीड़ एकत्रित होना शुरू हो गई। इस चमत्कार को देखकर श्रद्धालुओं ओमप्रकाश गहलोत, राकेश जैन, रविंद्र लुंकड़ , चम्पा लाल वैष्णव,मूला राम सहित श्रदालुओं ने इसे महादेव का आशीर्वाद बताया ।
जब गणेशजी ने पिया था दूध
वर्ष 1995 में 21 सितंबर (गणेश चतुर्थी) को यह आई कि गणेश प्रतिमाएं दूध पी रही हैं। इसके बाद लोगों ने एक दूसरे को फोन करके इसकी सूचना दी। जिसको जहां जानकारी लगी, गणेश मंदिर का पता पूछ वहां पहुंच गया। एक के बाद एक लोग दूध पिलाते रहे और गणेश प्रतिमाएं वैसे ही दूध को पीती रहीं। इसके बाद समय-समय पर दूसरे देवी-देवताओं के दूध पीने की खबर भी आती रहीं। देखते ही देखते मंदिरों में भीड़ लग गई। यह खबर आग में जंगल की तरह फैली देशभर के मंदिरों में गणेशजी दूध पिलाने के लिए लोगों की भीड़ लग गई। लोग गिलास में दूध लिए देर रात तक अपनी बारी का इंतजार करते देखे गए।

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